भूमिका: सिंधु घाटी सभ्यता एक कांस्य युगीन सभ्यता थी, जो दक्षिण एशिया के उत्तर-पश्चिमी क्षेत्रों में जो 3300 ईसा पूर्व से 1300 ईसा पूर्व तक …
वर्ष 1920 में महात्मा गांधी द्वारा शुरू किया गया असहयोग आंदोलन भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के इतिहास में एक महत्वपूर्ण मोड़ था। इस आंदोलन की मुख्य …
परिचय: स्वदेशी आंदोलन, आत्मनिर्भरता पर आधारित आंदोलन था जो भारतीय स्वतंत्रता आंदोलन का प्रमुख भाग था। इसने भारतीय राष्ट्रवाद के विकास में प्रमुख योगदान दिया …
परिचय: प्रथम विश्व युद्ध (1914-1918) एक वैश्विक संघर्ष था जिसमें विश्व की अधिकांश प्रमुख शक्तियाँ शामिल थीं और इसके परिणामस्वरूप काफी विनाश हुआ था। इसका …
परिचय– औद्योगीकरण का आशय अर्थव्यवस्था को कृषि से विनिर्माण क्षेत्र में बदलने की प्रक्रिया है। इसमें वस्तुओं और सेवाओं के उत्पादन के लिये मशीनों, कारखानों …
परिचय: इजरायल और फिलिस्तीन दोनों देशों के बीच संघर्ष की कथा आरंभ करने से पहले हमें इस क्षेत्र की भौगोलिक स्थिति को अच्छी तरह से …
महात्मा गांधी और रवीन्द्रनाथ टैगोर, दोनों भारत के महान स्वतंत्रता सेनानी, समाज सुधारक और विचारक थे। दोनों ने भारत की स्वतंत्रता के लिए अथक संघर्ष …
प्राचीन भारत के विकास में भौगोलिक कारकों ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। भारतीय उपमहाद्वीप के विविध भूगोल, जिसमें इसके पहाड़, नदियाँ और जलवायु शामिल हैं, ने …
महात्मा गांधी और रवीन्द्रनाथ टैगोर के शिक्षा और राष्ट्रवाद पर अलग-अलग दृष्टिकोण थे। शिक्षा: महात्मा गांधी व्यावहारिक शिक्षा में विश्वास करते थे जो समाज की …
प्राचीन भारत के विकास में भौगोलिक कारकों ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। भारतीय उपमहाद्वीप के विविध भूगोल, जिसमें इसके पहाड़, नदियाँ और जलवायु शामिल हैं, ने …